effective disposal of Dog Shit कुत्ते का शिट
कुत्ते का शिट
व्यक्तियों का चरित्र मिल कर समाज को गढ़ता है , अगर उसी समाज में कुछ ऐसा हो रहा है जो नहीं होना चाहिए या फिर जिसे बदलने की ज़रूरत आन पड़ी हो उसके लिए व्यक्ति विशेष को पहल करनी चाहिए . कल मेरी निगाह एक दस साल के बच्चे पर गयी जो कम्यूनिटी के पीछे फैले वुडलैंड के पेड़ पर यह तख्ती लगा रहा था , इसे पढ़ कर लगा कि समाज के हर सदस्य को ऐसे ही जागरूक होना चाहिए .
अब मैं आपको इस की प्रष्ठभूमि बताता हूँ . कम्यूनिटी में जितने परिवार बसे हैं लगभग उतने ही छोटे बड़े, पतले मोटे , झबरे, कबरे क़िस्म के कुत्ते भी हैं जिन्हें परिवारजन परिवार के सदस्य की ही तरह प्यार करते हैं लेकिन कुत्ते तो कुत्ते ठहरे उन्हें हाजत के लिए बाहर ले कर आना पड़ेगा , सामन्यत: लोग अपने साथ थैली लेकर चलते हैं जैसे ही कुत्ता अपने नित्यकर्म से निवृत्त होता है वे बड़े सलीके से उसकी टट्टी थैले में लपेट कर ट्रेश कर देते हैं . लेकिन कुछ महापुरुष अपवाद स्वरूप यह काम नहीं करते हैं . तो इस छोटे बच्चे ने ऐसे ही चंद महापुरुषों के कृत्य को नोट किया होगा , सोच विचार के उसने तख्ती तैयार की और पेड़ के तने पर बांध दिया , आप फ़ोटो पर गौर करेंगे तो पाएँगे कि इस पर ट्रेश बैग भी लगे हुए हैं .
बच्चे की पहल बहुत छोटी है लेकिन यह साबित करती है कि अगर एक बेहतर समाज बनाए रखना है तो उसके लिए न सिर्फ़ आप जागरूक होना ज़रूरी है वरन समाज को भी जागरूक करते रहना होगा .
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